तमकुहीराज के पवन ने यूपीएससी में लहराया परचम, 334वीं रैंक हासिल कर बढ़ाया जिले का मान

साधारण परिवार से निकले पवन ने दूसरे प्रयास में पास की देश की सबसे कठिन परीक्षा, गांव और जिले में खुशी की लहर

रिपोर्ट: अखिलेश कुमार द्विवेदी : कुशीनगर। कुशीनगर जिले के तमकुहीराज क्षेत्र के एक छोटे से गांव सिकटा से निकलकर पवन कुमार पांडेय ने वो कर दिखाया, जिसका सपना हर साल लाखों युवा देखते हैं। उन्होंने यूपीएससी 2024 में 334वीं रैंक हासिल कर न सिर्फ अपने परिवार बल्कि पूरे क्षेत्र को गर्व से भर दिया। उनकी यह सफलता इस बात का प्रमाण है कि दृढ़ संकल्प और मेहनत से किसी भी ऊंचाई को छूना मुमकिन है।

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Pawan of Tamkuhiraj waved in UPSC, raised the value of the district by achieving 334th rank
फोटो : UPSC की परीक्षा में सफलता पर तमकुही राज के पवन को मिठाई खिलाने परिजन

तमकुहीराज तहसील के सिकटा गांव के रहने वाले पवन कुमार पांडेय ने यूपीएससी 2024 में 334वीं रैंक हासिल कर क्षेत्र का नाम रोशन कर दिया है। यह सफलता उन्होंने अपने दूसरे प्रयास में हासिल की है, जो उनकी लगन और अनुशासन को दर्शाता है।

पवन के पिता रघुवीर पांडेय बीआरडी मेडिकल कॉलेज में वरिष्ठ लैब टेक्नीशियन हैं और उनकी मां किरन देवी एक गृहिणी हैं। पवन ने 2022 में आईआईटी दिल्ली से सिविल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन किया था। तकनीकी शिक्षा के बावजूद उन्होंने प्रशासनिक सेवा को अपना लक्ष्य बनाया और पूरी निष्ठा से तैयारी की।

Pawan of Tamkuhiraj waved in UPSC, raised the value of the district by achieving 334th rank
फोटो : IAS बने पवन कुमार

पवन की सफलता से जुड़े प्रमुख संदेश

  • साधारण पृष्ठभूमि कोई रुकावट नहीं, मेहनत और ईमानदारी सबसे बड़ा हथियार है।  
  • दूसरा प्रयास और सफलता की मिसाल, हार नहीं मानने की प्रेरणा।  
  • गांव के युवाओं के लिए नई ऊर्जा और आशा की किरण बने पवन।

पवन ने अपनी सफलता का श्रेय माता-पिता के आशीर्वाद, बहनों के हौसले और शिक्षकों के मार्गदर्शन को दिया। उन्होंने युवाओं से कहा कि अगर आपका लक्ष्य बड़ा है, तो राह की मुश्किलें छोटी लगती हैं। ज़रूरत सिर्फ निरंतर मेहनत और धैर्य की होती है।

पवन की सफलता की खबर जैसे ही फैली, गोरखपुर से लेकर कुशीनगर तक बधाइयों का सिलसिला शुरू हो गया। सिकटा गांव में मिठाइयां बांटी गईं और लोगों ने एक-दूसरे को बधाइयां दीं। गांव वालों ने इस उपलब्धि को गांव की जीत बताया।

पवन की बड़ी बहन डॉ. कामना पांडेय बीआरडी मेडिकल कॉलेज से एमडी कर रही हैं। उनके पिता फिलहाल गोरखपुर के राप्तीनगर स्थित राजनगर कॉलोनी में रहते हैं।

पवन की इस ऐतिहासिक सफलता पर उनके चाचा पत्रकार धनेश्वर पांडेय, बड़ी बहन कल्पना पांडेय, बहनोई अनुराग पांडेय, मामा संतोष तिवारी, बाबा सत्यनारायण पांडेय, और गांव-क्षेत्र के कई गणमान्य लोगों ने बधाई दी, जिनमें पत्रकार ओमप्रकाश सिंह, अजय सिंह, तहसील अध्यक्ष राजकुमार चौबे, प्रमोद त्रिपाठी, अंजनी सिंह आदि प्रमुख हैं।

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