प्रोफेसरों के संग मेडिकल डिप्लोमा कर रहें छात्रों ने किया रक्तदान
जनपद के अहमदनगर में मुरारपुर क्रॉसिंग के निकट स्थित कृष्णा ग्रुप ऑफ़ इंस्टिट्यूशंस के टैगोर हाल में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया है। जिसमें बी-फार्मा व डी-फार्मा कर रहे छात्रों के साथ प्रोफेसरों ने भी रक्तदान कर मानवता की मिसाल कायम की है।
प्रोफेसरों के संग मेडिकल डिप्लोमा कर रहें छात्रों ने किया रक्तदान
- रिपोर्ट : मुकेश कुमार : क्राइम एडिटर इन चीफ : अहमदनगर , महाराष्ट्र ।
जनपद के लहरपुर मार्ग पर अहमदनगर गांव में रेलवे क्रॉसिंग के निकट कृष्णा कॉलेज में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। जिसमें, रक्तदान शिविर के आयोजन का मुख्य उद्देश्य गरीब, असहाय, जरूरतमंदों की खून की वज़ह से जान न जाने पाएं।
शिविर के उद्देश्यों से प्रभावित होकर बी- फार्मा, डी-फार्मा कर रहें छात्रों ने अपनी स्वेच्छा से रक्तदान कर मानवता की मिसाल कायम की है।
गौरतलब है कि जनपद के अहमदनगर में मुरारपुर क्रॉसिंग के निकट स्थित कृष्णा ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूशंस के टैगोर हाल में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया।
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जिसमें बी- फार्मा और डी- फार्मा कर रहे छात्रों के साथ प्रोफेसरों ने भी रक्तदान कर मानवता की मिसाल कायम की है। रक्तदानियों ने रक्त अल्पता को दूर करने व खुद के स्वास्थ्य लाभ हेतु रक्तदान दिया है।
ताकि भविष्य में किसी गरीब, असहाय, जरूरतमंद की रक्त की कमी के कारण रक्त की कमी के कारण जान न जाने पाएं।
रक्तदान शिविर में प्रतिभाग करने वाले रक्तदानियों को अनेक उपहार दिए गए हैं। जिसमें फीस में 20% (अधिकतम 1500 ) की छूट, शोल्डर बैग, कॉफी मग, टेंपरेचर वॉटर बॉटल, बाॅल पेन सहित अन्य उपहार प्रदान किए गए।
रक्तदानियों में मुख्य रूप से मोहम्मद जीशान, उमा प्रताप, समीर खान, शेखर, प्रशांत दीक्षित, विशाल श्रीवास्तव के साथ प्रोफेसर, एवं अन्य छात्रों ने रक्तदान कर मिसाल कायम की है।
इस अवसर पर पहली बार रक्तदान करने वाले डी-फार्मा के छात्र मोहम्मद जीशान बताते हैं कि रक्तदान करने से पहले अजीब डर सा लग रहा था, लेकिन जब मन में यह विचार आया कि किसी की जान बचाने के लिए रक्तदान करना है, तो हमारे साथ-साथ हमारे कई दोस्तों ने रक्तदान किया है।
ताकि किसी की जिंदगी बचाई जा सके।
मैं खुद को तरोताजा महसूस कर रहा हूं। भविष्य में मुझे अगर यह पुण्य कार्य करने का अवसर मिला तो मैं पुनः रक्तदान अवश्य करूंगा। समाज के लोगों को भी इस पुण्य कार्य में आगे आना चाहिए, ताकि किसी जरूरतमंद की जान बचाई जा सकें।
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